दीपावली के त्यौहार को सुरक्षित और प्रदूषण मुक्त बनाने के लिए करसोग प्रशासन ने कड़े कदम उठाए हैं। लोगों की सुरक्षा और ध्वनि प्रदूषण पर नियंत्रण के लिए उपमंडल प्रशासन ने पटाखे बेचने के स्थान निर्धारित करने के साथ-साथ आतिशबाजी करने का समय भी निश्चित कर दिया है। एसडीएम करसोग गौरव महाजन ने जानकारी देते हुए बताया कि दीपावली के दौरान पटाखे केवल रात 8 बजे से 10 बजे के बीच ही चलाए जा सकेंगे। उन्होंने स्पष्ट किया कि रात 10 बजे से सुबह 6 बजे तक पटाखे फोड़ने पर पूर्ण प्रतिबंध रहेगा। यह निर्णय विशेष रूप से बुजुर्गों और बच्चों को होने वाली असुविधा को ध्यान में रखकर लिया गया है।
पटाखों की बिक्री के लिए स्थान निर्धारित
प्रशासन ने आग लगने की घटनाओं को रोकने के लिए खुले और सुरक्षित स्थानों पर ही पटाखों की बिक्री की अनुमति दी है। लाइसेंस धारक विक्रेता केवल इन्हीं चिन्हित स्थानों पर पटाखे बेच सकेंगे। बाजार में या किसी अन्य स्थान पर बिक्री पूरी तरह से प्रतिबंधित रहेगी। करसोग में रामलीला मैदान (पुराना बाजार), इमला पुल के पास और नया डाकघर के पास खुली जगह, चुराग में सनोती रोड और बंटी ऑटो स्पेयर के पास खुली जगह, तत्तापानी में सतलुज ब्रिज के पास शिमला-मंडी रोड के नीचे खुली जगह, पांगणा में अस्पताल रोड पर पंचायत घर के पीछे खुली जगह, केलोधार में केलोधार छतरी सड़क के समीप खुली जगह, सनारली में सनारली भंथल सड़क के पास खुली जगह, भंथल में पुन्नी रोड के पास खुली जगह और धरमौड़ में ग्राम पंचायत खील के पास खुली जगह पर पटाखों की बिक्री के लिए स्थान निर्धारित किए गए हैं।
नियमों का उल्लंघन करने पर होगी कार्रवाई
एसडीएम ने चेतावनी दी है कि कोई भी व्यक्ति बिना वैध लाइसैंस के पटाखे नहीं बेच सकता। इसके अलावा, बेचे जाने वाले पटाखों पर यह अंकित होना अनिवार्य है कि 4 मीटर की दूरी पर उनकी ध्वनि 75 डेसिबल से अधिक न हो। यदि कोई भी दुकानदार प्रतिबंधित पटाखे बेचता या स्टोर करता हुआ पाया जाता है, तो उसके खिलाफ सख्त कानूनी कार्रवाई की जाएगी। प्रशासन ने सभी नागरिकों से इन नियमों का पालन कर एक सुरक्षित दीपावली मनाने की अपील की है।